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उत्तराखंड में रजिस्ट्री फर्जीवाड़े में जेल गए नामी वकील की पैरवी करने सुप्रीम कोर्ट से आएंगे वकील

देहरादून। उत्तराखंड में करोड़ों की जमीनों की रजिस्ट्री फर्जीवाड़े में राजधानी के नामी वकील कमल विरमानी की जमानत याचिका पर 23 सितंबर को सुनवाई होगी। सूत्रों का कहना है कि  सुनवाई के लिए सुप्रीम कोर्ट के नामी वकील को देहरादून बुलाया जा रहा है। इधर, रजिस्ट्री फर्जीवाड़े के सरगना केपी सिंह को लेकर क्लेमनटाउन कोठी कांड की जांच भी पुलिस ने शुरू कर दी है। जल्द एसआईटी जेल में बंद चल रहे केपी सिंह से पूछताछ कर सकती है।

उत्तराखंड ही नहीं बल्कि देशभर में पहला चर्चित रजिस्ट्री कांड में गिरफ्तार नामी वकील कमल विरमानी की मुश्किलें बढ़ती जा रही है। डीएम दफ्तर से लगे रिकॉर्ड रूम में दूसरों की जमीन के दस्तावेज की जगह फर्जी लोगों के नाम चढ़ाने के मामले में एसआईटी जांच कर रही है। मामले पर मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी स्वयं नजर बनाए हुए हैं। गौरतलब है कि मुख्यमंत्री के संज्ञान में रजिस्ट्री फर्जीवाड़ा की शिकायत आने पर उन्होंने स्वयं रिकॉर्ड रूम पहुंचकर स्थिति का जायजा लिया था। इस मामले में सीएम ने एसआईटी जांच के तत्काल आदेश दिए थे। मामले में एसआईटी ने रजिस्ट्री फर्जीवाड़े गिरोह के शामिल मुख्य सरगना प्रॉपर्टी डीलर केपी सिंह, नामी वकील विरमानी समेत 10 लोगों को जेल भेजा है। कमल विरमानी 27 अगस्त से जेल में बंद हैं। इधर, अभी रजिस्ट्री दफ्तर में काम करने, रिकॉर्ड रूम की जिम्मेदारी संभालने वालों की भूमिका की जांच जारी है। सूत्रों का कहना है कि यदि जांच निष्पक्ष हुई तो कई बड़े नाम सामने आ सकते हैं।

कमल विरमानी की जमानत पर 23 को सुनवाई

रजिस्ट्री फर्जीवाड़े में गिरफ्तार किए गए देहरादून के नामी वकील कमल विरमानी की जमानत याचिका पर बुधवार को सुनवाई नहीं हो पाई। अभियोजन व बचाव पक्ष ने कोर्ट से अगली तारीख देने की याचना की। जिसे स्वीकार करते हुए जिला जज प्रदीप पंत की अदालत ने 23 सितंबर की तिथि तय कर दी।बताया जा रहा है कि अब सुप्रीम कोर्ट के वरिष्ठ अधिवक्ता सिद्धार्थ लुंबा कमल विरमानी की जमानत पर पैरवी करेंगे। इस कारण भी बुधवार को जिला जज की कोर्ट में जमानत पर बहस नहीं हो पाई। क्योंकि, वरिष्ठ अधिवक्ता को देहरादून पहुंचने में विलंब हो गया था। इसके चलते बचाव पक्ष के अधिवक्ता एसके धर ने जमानत पर सुनवाई के लिए कोर्ट से अगली तारीख देने का आग्रह किया गया। वहीं, अभियोजन पक्ष से वरिष्ठ शासकीय अधिवक्ता गुरु प्रसाद रतूड़ी ने कोर्ट को बताया कि पुलिस स्टेशन से रिपोर्ट नहीं आई है। उन्होंने भी कोर्ट से अगली तारीख देने की याचना की थी। इसे स्वीकार करते हुए जिला जज प्रदीप पंत की अदालत ने जमानत पर सुनवाई के लिए 23 सितंबर की तिथि तय कर दी है।

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