देहरादून। उत्तराखंड के पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत को सीबीआई ने जौलीग्रांट अस्पताल में इलाज के दौरान ही पुराने मुकदमे में नोटिस थमा दिया। पूर्व मुख्यमंत्री ने इसकी जानकारी सचित्र अपनी फेसबुक वॉल पर साझा की है। इधर, पूर्व मुख्यमंत्री को इलाज के दौरान नोटिस सर्व करने का राजनीतिक दलों और सामाजिक संगठनों ने निंदा की है।
पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत ने अपनी फेसबुक वॉल पर।लिखा कि……”आज जौलीग्रांट हॉस्पिटल में मेरे स्वास्थ्य की जानकारी लेने के लिए एक बड़ी महत्वपूर्ण संस्था भी आई, #CBI के दोस्त आये और उन्होंने मुझे एक #नोटिस सर्व किया, तो मुझे बड़ा ताज्जुब हुआ। मैंने कहा जिस दिन हॉस्पिटल में लोग स्वास्थ्य का हाल-चाल पूछने आ रहे हैं तो सीबीआई को लगा होगा फिर कहीं कि मुझसे, देश की अखंडता, एकता, सुरक्षा और लोकतंत्र को कुछ ज्यादा खतरा है, इसलिये हॉस्पिटल में ही उन्होंने मुझे नोटिस सर्व किया है, वाह CBI !!
(पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत की फेसबुक वाल से)
स्टिंग प्रकरण से जुड़े मामले में दिया नोटिस
सीबीआई सूत्रों का कहना है कि उत्तराखंड के बहुचर्चित स्टिंग प्रकरण में पूर्व मुख्यमंत्री हरीश रावत व पूर्व मंत्री हरक सिंह रावत को वॉइस सैंपल देने के लिए नोटिस जारी किया है। पिछले दिनों स्टिंग मामले में हरक सिंह रावत, हरीश रावत, मदन बिष्ट और उमेश शर्मा को वॉइस सैंपल देने के लिए नोटिस जारी किए गए थे। सभी को चार जुलाई तक जवाब कोर्ट में दाखिल करना था। उमेश शर्मा को छोड़कर सभी नेताओं ने जवाब दाखिल करने के लिए समय मांगा था। इसके बाद 15 जुलाई को हरक सिंह रावत, हरीश रावत और मदन बिष्ट ने अपना जवाब दाखिल किया था। 17 जुलाई को स्पेशल जज सीबीआइ धर्मेंद्र अधिकारी की कोर्ट ने सभी नेताओं को वायस सैंपल देने के आदेश जारी किए थे। इसी क्रम में सीबीआई ने हरीश रावत को 07 नवंबर को वॉइस सैंपल के लिए अब कार्यालय बुलाया है।