मुख्यमंत्री धामी का बड़ा ऐलान, बस दुर्घटना में घायलों के लिए “देवदूत” बने ग्रामीणों को करेंगे “सम्मानित”, डीएम को दिए ये निर्देश
देहरादून। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने पौड़ी बस दुर्घटना में सबसे पहले घायलों की मदद में देवदूत बनकर आये ग्रामीणों को भी प्रोत्साहन राशि के साथ सम्मानित करने का निर्णय लिया है। इस सम्बंध में मुख्यमंत्री ने जिलाधिकारी को ऐसे सभी ग्रामीणों को चिन्हित करने के निर्देश दिए, जो सबसे पहले घायलों की मदद को आगे आए। इधर, मुख्यमंत्री ने दशहरा और अन्य सभी कार्यक्रम रद कर सीधे पौड़ी और उत्तरकाशी में रेस्क्यू कार्य की स्वयं निगरानी का निर्णय लिया है।
उत्तराखंड के पौड़ी के सिमडी में मंगलवार देर शाम को हुई बारातियों की बस दुर्घटना में सबसे पहले स्थानीय ग्रामीण मौके पर पहुंचे। ग्रामीणों ने बिना देर किए स्वयं की जान की परवाह न कर घायलों को गहरी खाई से रेस्क्यू किया है। देर रात और सुबह तक कई ग्रामीण पुलिस, एसडीआरएफ की मदद में जुटे रहे। यह बात मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी तक पहुंची तो उन्होंने ग्रामीणों की मदद पर आभार जताया। साथ ही ऐलान किया कि सरकार घायलों के लिए देवदूत बने ग्रामीणों को भी प्रोत्साहन राशि देकर सम्मानित करेगी। इस सम्बंध में पौड़ी के डीएम को निर्देश दिए गए कि वह मददगार बने ग्रामीणों को चिन्हित कर उनकी सूची बनाएं और उनको उचित प्रोत्साहन राशि के साथ सम्मानित करें। ताकि भविष्य में दूसरे लोग भी आपदा के दौरान जरूरत पड़ने पर मदद को आगे आएं। मुख्यमंत्री ने सभी अधिकारियों और कर्मचारियों को भी आपदा की इस घड़ी में संवेदनशीलता दिखा कर जिम्मेदारी निभाने के निर्देश दिए हैं।
मुख्यमंत्री ने सभी कार्यक्रम किए रद, स्वयं संभाला रेस्क्यू का मोर्चा
मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी पौड़ी बस दुर्घटना और उत्तरकाशी में ग्लेशियर हादसे की मंगलवार से ही स्वयं मॉनिटरिंग कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार और उसकी सभी एजेंसियां भारत सरकार की सभी एजेंसियों के साथ चौबीसों घंटे काम कर रही हैं ताकि इन घटनाओं से सीधे तौर पर प्रभावित सभी लोगों को राहत और राहत मुहैया कराई जा सके। ररेस्क्यू कार्य की मुख्यमंत्री स्वयं निगरानी कर रहे हैं। मुख्यमंत्री ने अपने सभी दशहरा कार्यक्रमों को रद्द कर दिया है और दोनों घटनाओं में घायलों के साथ व्यक्तिगत रूप से बातचीत करने के लिए पौड़ी में दुर्घटना स्थल और उत्तरकाशी में एनआईएम नियंत्रण कक्ष पहुंच गए हैं। जहां बचाव और राहत की प्रगति पर स्थानीय अधिकारियों से पल पल की जानकारी ली जाएगी। दोनों त्रासदी से उभरने को भारत सरकार भी राज्य सरकार की मदद कर रहे हैं।