
देहरादून। राजधानी देहरादून की तहसील में अफसर बेलगाम और मनमानी पर उतर रखे हैं। दफ्तरों से गायब रहना और आम जनता के काम लटकना इनकी फितरत बन गई है। आज देहरादून तहसील में जब वकील रूटीन के काम करने पहुंचे तो पटवारी से लेकर तहसीलदार तक नदारद मिले। जब वकीलों ने अफसरों को फोन पर जानकारी चाही तो कोई रिस्पांस नहीं मिला। अफसरों की इस मनमानी से वकील भड़क गए और नारेबाजी के साथ धरने पर बैठ गए। हंगामा बढ़ते देख एसडीएम हरगिरि मौके पर पहुंचे। एसडीएम ने वकीलों की मांग पर 10 दिन के भीतर कार्रवाई का भरोसा दिया है। इसके बाद मामला शांत हुआ।
देहरादून की तहसील सदर का नजारा शुक्रवार को बदला नजर आया। देहरादून बार एसोसिएश से जुड़े तमाम अधिवक्ताओं ने तहसीलदार सदर शादाब पर अभद्रता का आरोप लगाते हुए जमकर विरोध-प्रदर्शन किया। बार पदाधिकारियों के साथ तमाम अधिवक्ता तहसील कार्यालय के समक्ष ही धरने पर बैठ गए। इस दौरान बार एसोसिएशन के सचिव राजवीर सिंह बिष्ट ने कहा कि अधिवक्ताओं के साथ तू-तड़ाक से बात करने वाला अफसर नहीं चाहिए। वहीं, हंगामे की सूचना पाकर पहुंचे उपजिलाधिकारी हरिगिरि ने अधिवक्ताओं को समझाने का प्रयास किया। प्राप्त जानकारी के मुताबिक कुछ अधिवक्ता राजस्व संबंधी अपने दैनिक कार्यों के तहत तहसील कार्यालय पहुंचे थे। इस दौरान वहां तमाम लेखपाल नदारद पाए जाने पर अधिवक्ताओं ने तहसीलदार शादाब से भी मुलाकात करनी चाही। इसी दौरान किसी बात को लेकर कहासुनी हो गई। अधिकारियों के रवैये से खिन्न अधिवक्ताओं ने नारेबाजी शुरू कर दी और तहसील प्रशासन पर कार्यों में लापरवाही का आरोप लगाया। बार एसोसिएशन के सचिव राजवीर सिंह बिष्ट ने कहा कि तहसीलदार कोर्ट में ना के बराबर उपस्थित रहते हैं और राजस्व संबंधी कार्य लटकाए जा रहे है।अधिवक्ताओं के धरना-प्रदर्शन की सूचना पर पहुंचे उपजिलाधिकारी हरिगिरि ने उन्हें समझाने का प्रयास किया। अधिवक्ताओं ने उन्हें बताया कि अधिवक्ताओं के साथ उपेक्षा का भाव रखा जा रहा है। कार्यालय में उनकी उपस्थिति पर परहेज किया जा रहा है। राजस्व संबंधी तमाम कार्य लंबित रखे जा रहे हैं और ढंग से किसी बात का जवाब नहीं दिया जा रहा। लेखपाल भी कार्यालय में नहीं मिलते हैं, न ही किसी फाइल पर समय पर रिपोर्ट लगाई जा रही है। उन्होंने ऐसे अधिकारियों व कर्मचारियों को तत्काल हटाने की मांग की। साथ ही चेतावनी दी गई कि समाधान न होने पर जिलाधिकारी कार्यालय पर प्रदर्शन किया जाएगा।